आज देश की राजधानी दिल्ली में विपक्षी दलों के 300 से अधिक सांसद संसद भवन के मकर द्वार से चुनाव आयोग के मुख्यालय तक पैदल मार्च करेंगे। यह प्रदर्शन 2024 के लोकसभा चुनावों में कथित वोट चोरी और बिहार में चल रहे विशेष गहन मतदाता सूची संशोधन (SIR) के खिलाफ है। कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, टीएमसी, डीएमके, वाम दलों, आरजेडी, एनसीपी, शिव सेना (यूबीटी) और नेशनल कॉन्फ्रेंस समेत 25 विपक्षी पार्टियां इस आंदोलन में शामिल होंगी।
गौरव गोगोई का चुनाव आयोग पर दबाव
चुनाव आयोग के साथ हुई बैठक में कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई ने चुनाव आयोग पर जोर देते हुए कहा कि आयोग को जनता के सामने स्पष्ट जवाब देना होगा। उन्होंने कहा कि आयोग बार-बार सुनता है लेकिन कोई ठोस जवाब नहीं देता। गौरव ने यह भी कहा कि राजनीतिक दलों से बात करते समय चुनाव आयोग को तथ्यों को सार्वजनिक करना चाहिए और संसद के ज्यादातर सांसदों को विरोध मार्च की अनुमति देनी चाहिए, साथ ही उनकी सुरक्षा का इंतजाम करना चाहिए।
पुलिस से अनुमति न मिलने का तगड़ा सवाल
दिल्ली पुलिस ने स्पष्ट किया है कि विपक्षी दलों ने उनके पास विरोध मार्च के लिए अनुमति नहीं ली है। इसलिए इस मार्च के चुनाव आयोग कार्यालय तक पहुंचने की संभावना कम मानी जा रही है। हालांकि विपक्ष ने पुलिस की इस बात को नजरअंदाज करते हुए अपना प्रदर्शन जारी रखने का इरादा जताया है। इससे राजधानी में सुरक्षा व्यवस्था को लेकर तनाव बढ़ गया है।
विपक्ष का उद्देश्य और मांगें
विपक्ष का मुख्य उद्देश्य 2024 के लोकसभा चुनाव में कथित मतदाताओं की सूची में गड़बड़ी और वोट चोरी को लेकर चुनाव आयोग से जवाब मांगना है। इसके अलावा बिहार में चल रहे विशेष गहन मतदाता सूची संशोधन के खिलाफ भी विपक्ष सख्त है। उनका कहना है कि इस प्रक्रिया से कई वोटरों को वोट डालने से रोका जा रहा है। विपक्ष इस मुद्दे को राष्ट्रीय स्तर पर उठाकर चुनाव आयोग की निष्पक्षता पर सवाल उठा रहा है।
राजनीतिक हलचल और भविष्य की लड़ाई
यह विरोध मार्च देश की राजनीतिक फिजा में नई हलचल लेकर आया है। विपक्ष की यह कोशिश है कि वे जनता के बीच अपनी बात पहुंचाएं और चुनाव आयोग के खिलाफ दबाव बनाएं। आने वाले समय में यह देखना होगा कि चुनाव आयोग किस तरह इस प्रदर्शन का जवाब देता है और क्या विपक्ष के ये मुद्दे राजनीतिक बहस का हिस्सा बन पाते हैं। फिलहाल, संसद से निकलकर सड़क तक पहुंचा यह आंदोलन बड़ी राजनीतिक लड़ाई की शुरुआत माना जा रहा है।